शुक्रवार, 20 दिसंबर 2019

नागरिकता संसोधन अधिनियम (CAA) भारत व भारतीयों के हित में है ।

मित्रों नमस्कार ।
मैं पिछले एक सप्ताह से देख रहा हूँ भारत मे विभिन्न शहरों में नागरिकता संशोधन अधिनियम (CAA)  का विरोध प्रदर्शन हो रहा है । एक लोकतांत्रिक देश मे किसी भी तरह की असहमति के लिए अभिव्यक्ति की आज़ादी है । जो भी लोग सरकार या समाज के किसी मामले से असहमत हो तो वे बेसक अपनी बात रख सकते है किन्तु मैं उन सभी आंदोलनकारियों से कहना चाहता हूँ कि किसी भी विषय पर अपने विचार रखने के लिए या उसका समर्थन या विरोध करने से पहले उस विषय का बारीकी से अध्ययन करना चाहिए । 
वर्तमान समय मे जो विरोध प्रदर्शन हो रहे है इसमें सबसे दुखद तो ये है कि किसी को मुद्दा ही नही पता है और मार काट पर उतारू हैं । सभी प्रदर्शन कारी दुहाई तो गांधी जी के विचारों की करते है किंतु काम हिंसात्मक और अशांति पूर्ण कर रहे हैं । ये कृत्य देश हित मे नही है ।
मित्रों मैं नागरिकता संशोधन अधिनियम के सन्दर्भ में समाचारों में देख रहा हूँ कि तमाम विपक्षी पार्टी के छुटभैय्ये नेता भी आग उगलने का कार्य कर रहे हैं जबकि इन प्रदर्शनों में एकत्रित होने वाली भीड़ को किसी विषय विशेष का तनिक भी ज्ञान नही है । 
नागरिकता संशोधन अधिनियम का मूल उद्देश्य भारत के उन पड़ोसी देशों जो भारत से ही विभाजित होकर बने है के  शोसित अल्पसंख्यक परिवारों को नागरिकता प्रदान करना है ।
इस अधिनियम में कोई भी ऐसी बात नही है जो वर्तमान भारतीय नागरिकों के किसी भी अधिकार को क्षति पहुचा रहा है ।
अतैव मैं सभी भारतीयों से विनम्र आग्रह करता हूँ कि कृपया करके सभी युवा जन मिलकर भारत के विकास में सहयोग करें । किसी भी तरह की भ्रामक सूचना से बहकावे में न आएं । हमारा देश इस समय करवट बदल रहा है। नए भारत की ओर अग्रसर हो रहा है आप सभी इसमे सकारात्मक योगदान करें । 
जय हिंद जय भारत। 

जय हिंद जय भारत। 
अमित दीक्षित"आदिदेव"
अधिवक्ता
माननीय उच्च न्यायालय 
खंडपीठ लखनऊ उत्तर प्रदेश ।

बुधवार, 2 अक्टूबर 2019

स्वतंत्रता से भी ज्यादा जरूरी है स्वच्छता।



मित्रो नमस्कार ।
आज हमारे राष्ट्र पिता महात्मा गांधी जी की 150 वीं जन्म जयंती है ।  आज ही के दिन हमारे देश मे एक और महापुरुष का जन्म हुआ था जिनका नाम है लाल बहादुर शास्त्री जी । आज शास्त्री जी की  116 वीं जन्म जयंती है । शास्त्री जी न सिर्फ हमारे देश के द्वितीय प्रधानमंत्री थे साथ ही एक सच्चे ईमानदार और कर्तव्यनिष्ठ व्यक्ति थे जिन्होंने भारत देश की अंतिम सांस तक सेवा की । शास्त्री जी ने जब देश के आम जन-मानस व अन्नदाता किसानों में निराशा का भाव देखा तो सभी को एकीकृत करने के लिए जय जवान , जय किसान का नारा दिया जो कि आज भी सभी भारतीय गर्व से उच्चारित करते हैं । ये भी बड़े गर्व की बात है कि शास्त्री जी महात्मा गांधी जी के प्रिय शिष्य थे । मुझे ये कहने में कोई संदेह नही है कि पूरा विश्व आज इस अवसर पर गर्व महसूस कर रहा है । 
मित्रों महात्मा गांधी जी ने न सिर्फ भारत को आजाद कराया अपितु विश्व के अन्य देशों में भी अन्याय के खिलाफ आवाज उठाई । आज तमाम ऐसे अंतरराष्ट्रीय व्यक्तित्व है जिन्होंने गांधी जी के बताए सत्य अहिंसा के मार्ग पर चल कर अपने  देश को एक नई दिशा प्रदान कर पाने में सफल हुए । गांधी जी की दूरदृष्टा सोंच का सबसे बड़ा उदाहरण ये है कि तकनीकी के इस युग में आज भी गांधी जी की प्रासंगिकता उतनी  ही महत्वपूर्ण है ।
मित्रों हम सभी युवा जनों को गांधी जी को और करीब से जानने की जरूरत है जिसके लिये गांधी जी की आत्मकथा आपको निश्चित रूप से सहायता करेगी  क्योंकि हमारे समाज मे गांधी जी से जुड़े कुछ प्रसंग ही प्रचलित है जैसे कि गांधी जी के तीन बंदर, गांधी जी की गुड़ न खाने की सलाह तथा गांधी जी का समय की पाबंदी का दृष्टांत इत्यादि । 
मित्रों हमारे लोकप्रिय प्रधानमंत्री मोदी जी ने गांधी जी के तमाम ऐसे महत्वपूर्ण विषयों को समाज मे प्रस्तुत किया है जो कि प्रत्येक व्यक्ति को अपने जीवन मे उतारना अत्यावश्यक है । जैसे कि स्वच्छता का विषय है इस विषय मे हमारे देश मे जन - जन में व्यक्तिगत स्वच्छता का बहुत ही उन्नतशील स्वरूप सम्मिलित है किंतु दुख का विषय है कि सार्वजनिक स्वच्छता हमारे व्यवहार में अभी पूर्ण रूप से समाहित नही हो पाई है। अतैव हमें स्वच्छता को न सिर्फ घर के अंदर बल्कि समाज के हर वर्ग और स्थान पर ध्यान रखना होगा 
तभी हम स्वस्थ्य समाज का निर्माण कर सकते हैं। मित्रो स्वच्छता से भी बड़ा एक मुद्दा है सेवा । गांधी जी ने अपने जीवन मे बहुत सारे ऐसे प्रयोग किये हैं जो हम सभी के लिए आदर्श हैं । गांधी जी ने निर्बलों, निर्धनों व छुआछूत के भेदभाव को मिटाकर सभी की समान सेवा का संदेश दिया है । गांधी जी हमेशा साधन की अपेक्षा साध्य की ओर ले जाने का संदेश देते रहे जिससे हमें आत्मनिर्भर होने की प्रेरणा मिलती है । दोस्तों हमे अपने असपास के समाज मे स्वच्छता, स्वदेशी, स्वरोजगार व स्वावलंबन के गांधी जी के सिद्धान्तों के आधार पर सदैव राष्ट्र निर्माण में अनवरत सेवारत रहना चाहिए ।
- अमित दीक्षित "आदिदेव"
अध्यक्ष 
आदिदेव वेलफेयर फॉउंडेशन
"शिक्षित भारत-समृद्ध भारत" 
निदेशक
आदिदेव कैरियर कॉउंसेलर प्राइवेट लिमिटेड
            "करो सलाह-रहो आगाह"

गुरुवार, 21 मार्च 2019

होली गीत

।। होली गीत ।।
नवरंग खिले नव,नव कमल खिले।
नव संवत्सर का आगाज़ हुआ ।।
अपने   स्नेहिल   स्वजनों    से ।
मिलने का अवसर आज हुआ ।।
हम सबका करते हैं अभिनंदन ।
माथे  पर   टीका   और  चंदन ।।
होली   की   पावन    वेला पर ।
नव   संवत्सर के  अवसर पर ।।
है आदिदेव की अरदास सभी से।
मिलजुल कर करो प्रयास अभी से ।।
ये   कमल हमारा खिला रहे ।
कंधे   से    कंधा   मिला रहे ।।
यह होली महज त्यौहार नही ।
गंगा    यमुना का संगम   है ।।
आपस     मे   भाई   चारे का ।
आया यह स्वर्णिम अवसर है ।।
🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏
आपको सपरिवार रंगों के त्यौहार होली की हार्दिक बधाइयाँ ।।।
अमित दीक्षित "आदिदेव"
संस्थापक/अध्यक्ष
आदिदेव वेलफेयर फाउंडेशन ।।
आदिदेव करियर कॉउंसेलर ।।
आदिदेव पब्लिक लाइब्ररी ।।

शुक्रवार, 25 जनवरी 2019

भारतीय गणतंत्र की 70वीं वर्षगाँठ पर हार्दिक बधाई ।

जय हिंद दोस्तों ।
आप सभी को भारतीय गणतंत्र की 70वीं वर्षगाँठ पर हार्दिक बधाई ।
               दोस्तों मेरा हमेशा से एक आग्रह रहा है कि जिस प्रकार हमारे देश मे मूल अधिकारों की मांग के लिए आंदोलन होते है ठीक इसी  प्रकार नागरिकों को संविधान में दिए गए मूल कर्तव्यों की अनुभूति बहुत आवश्यक है । प्रत्येक नागरिक को देश के प्रति अपने मूल कर्तव्यों को अवश्य निभाना चाहिए तभी सच्चे अर्थों में  गणतंत्र की सार्थकता सिध्द होगी ।
जय हिंद जय भारत ।